१९८० से १९९०
एशियाई खेलों का सफल आयोजन:
सन् १९८२ में भारत में दूसरी बार एशियाई खेलों का सफल आयोजन किया गया, जो कि पिछली बार की अपेक्षा कहीं बड़े पैमाने पर रहा और साथ ही इसी वर्ष रंगीन टीवी भी भारत आया।
भारत बना क्रिकेट विश्व चैंपियन:
१९८३ में खेलों की दुनिया में सबसे बड़ी जीत दर्ज करते हुए भारत ने कपिल देव की कप्तानी मे वेस्ट इंडीज को हराकर क्रिकेट विश्व कप अपने नाम कर लिया।
ऑपरेशन ब्लूस्टार:
जून १९८४ में प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के निर्देश पर अमृतसर के स्वर्ण मंदिर में जरनैल सिंह भिंडरावाले के नेतृत्व में घुसे खालिस्तानी आतंकवादियों को निकाल बाहर करने के लिए सेना ने ऑपरेशन ब्लू स्टार चलाया।
अंतरिक्ष में प्रथम भारतीय:
अप्रैल १९८४ में भारत ने अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में एक और सफलता प्राप्त की, जब पहला भारतीय अंतरिक्ष यात्री राकेश शर्मा, जो भारतीय वायुसेना के एक पायलट थे, अंतरिक्ष पहुंचे।
इंदिरा गांधी की हत्या:
३१ अक्टूबर १९८४ को तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की उनके ही सिख अंगरक्षकों ने गोली मारकर हत्या कर दी। इस हत्या को ऑपरेशन ब्लू स्टार के प्रतिकार के रूप में देखा गया। (यह केवल कुछ इतिहासकारो की राय है)। इंदिरा गांधी की हत्या के हुए सिक्ख विरोधी दंगों में २,००० से अधिक लोग मारे गए।
एवरेस्ट विजय:
२३ मई १९८४ को बचेंद्री पाल विश्व की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाली भारत की पहली और विश्व की पांचवीं महिला बनीं।
भोपाल गैस त्रासदी:
३ दिसम्बर १९८४ को विश्व का सर्वाधिक भीषण औद्योगिक दुर्घटना सामने आई, जब मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में यूनियन कार्बाइड के कारखाने में गैस का रिसाब होने से लगभग ३,००० लोग अकाल मृत्यु का शिकार बने।
सड़क पर उतरी मारुति:
१९८४ में ८०० सीसी की मारुति कार लांच हुई, जिसने देश में वाहन क्रांति का मार्ग प्रशस्त किया।
शाह बानो मामला:
इस विवादास्पद मामले में उच्चतम न्यायालय ने मुस्लिम बोर्ड के निर्णय को पलटते हुए शाह बानो को गुजारा भत्ता देने को कहा लेकिन कट्टरपंथी मुस्लिम कार्यकर्ताओं के दबाव के आगे राजीव गांधी सरकार ने उच्चतम न्यायालय के निर्णय को प्रभावहीन बनाया।
कनिष्क बमकांड:
२३ जून १९८५ को बब्बर खालसा के आतंकवादियों ने आयरलैंड से टोरंटो आ रहे एयर इंडिया के विमान को बम से उड़ा दिया, जिसमें सवार सभी ३२९ यात्री मारे गए।
असम समझौता:
१९८५ में राजीव गांधी सरकार और असम के चरमपंथी गुटों में ऐतिहासिक समझौते से यह आस बंधी थी कि इस राज्य में शांति हो जाएगी, लेकिन ऐसा पूरी तरह संभव नहीं हो सका।
भारत-श्रीलंका शांति समझौता:
भारतीय प्रधानमंत्री राजीव गांधी और श्रीलंका के राष्ट्रपति जेआर ने १९८७ में इस समझौते पर हस्ताक्षर किए। यह समझौता एक भूल साबित हुआ और इसके चलते श्रीलंका में हिंसक आंदोलन जोर पकड़ने लगा।
मताधिकार की आयु सीमा घटी: १९८८ में राजीव गांधी सरकार ने मतदान के लिए न्यूनतम आयु सीमा २१ वर्ष से घटाकर १८ वर्ष कर दी।
पृथ्वी प्रक्षेपास्त्र का सफल परीक्षण:
भारत ने पूर्णतया स्वदेशी तकनीक पर आधारित बैलिस्टिक प्रक्षेपास्त्र का १९८८ में सफल परीक्षण किया।
आरक्षण का पेंच:
अगस्त १९९० में तत्कालीन प्रधानमंत्री विश्वनाथ प्रताप सिंह ने मंडल आयोग की सिफारिशों को स्वीकार करते हुए सरकारी नौकरियों में अन्य पिछड़ा वर्गों के लिए २७ प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान लागू कर दिया।
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